विकलांग चेतना परिषद का राष्ट्रीय अधिवेशन 8 जुलाई को बिलासपुर में संपन्न,विकलांग अनुसंधान केंद्र के संचालन के लिए बनी समिति, हाईकोर्ट के रिटायर्ड न्यायधीश चंद्रभूषण बाजपेई रहे मौजूद, सेवाभावी इकाइयों एवं व्यक्तियों का हुआ सम्मान
सक्ति छत्तीसगढ़ से कन्हैया गोयल की खबर
सकती- अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद का दो दिवसीय राष्ट्रीय अधिवेशन 8 जुलाई को न्यायधानी बिलासपुर के गीता देवी रामचंद्र विकलांग चिकित्सा अनुसंधान केंद्र परिसर में स्थित सभागार में हुआ, इस अवसर पर कार्यक्रम का शुभारंभ वीणा वादिनी मां सरस्वती, भारत माता के तैल चित्र पर माल्यार्पण दीप प्रज्वलन एवं विकलांग चेतना परिषद के संस्थापक डॉ डीपी अग्रवाल के तैल चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर हुआ,तथा आगंतुक मंचस्थ अतिथियों में प्रमुख रूप से अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद के राष्ट्रीय अधिवेशन के मुख्य अतिथि हाईकोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायाधीश चंद्रभूषण वाजपेई, राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष डॉ विनय कुमार पाठक, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष वीरेंद्र पांडेय, राष्ट्रीय पदाधिकारी एवं पूर्व राज्यसभा सांसद एडवोकेट गोविंदराम मिरी,, श्रीमती विद्या केडिया,राष्ट्रीय महामंत्री मदन मोहन अग्रवाल, छत्तीसगढ़ प्रांतीय विकलांग चेतना परिषद के अध्यक्ष सत्येंद्र अग्रवाल, श्रीमती निशा अग्रवाल, श्रीमती अनुराधा शुक्ला रायपुर, शक्ति शाखा के अध्यक्ष रामअवतार अग्रवाल,अमरलाल अग्रवाल कांट्रेकटर सकती, शिवरीनारायण शाखा के अध्यक्ष राजेश अग्रवाल सहित अन्य राष्ट्रीय एवं प्रांतीय पदाधिकारी मौजूद रहे
कार्यक्रम का मंच संचालन करते हुए परिषद के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष राजेंद्र अग्रवाल राजू ने विस्तारपूर्वक कार्यक्रम की जानकारी दी साथ ही अपना कोषाध्यक्ष प्रतिवेदन प्रस्तुत किया, एवं राजेंद्र अग्रवाल ने बताया कि परिषद ने आज अपनी स्थापना से ही निरंतर विकलांगता के क्षेत्र में विभिन्न कार्यक्रम किए हैं तथा इसका संगठन राष्ट्रीय स्तर पर सभी प्रदेशों में है, राष्ट्रीय महामंत्री मदन मोहन अग्रवाल ने भी अधिवेशन को संबोधित करते हुए बताया कि परिषद ने आज लोगों के सहयोग से इतना बड़ा हॉस्पिटल का निर्माण किया है, तथा हम सभी को आगे इस हॉस्पिटल को बेहतर ढंग से संचालित करते हुए इसे प्रारंभ करना है एवं परिषद के राष्ट्रीय कार्यक्रमों का भी संपादन करना है, साथ ही अधिवेशन के दौरान आगंतुक सदस्यों से सुझाव भी आमंत्रित किए गए एवं अधिवेशन के दौरान अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद की प्रांतीय, स्थानीय इकाइयों सहित विगत दिनों संपन्न विभिन्न शिविरों में सहयोग करने वाली सेवाभावी संस्थाओं तथा व्यक्तियों का भी शाल, श्रीफल एवं स्मृति चिन्ह के माध्यम से सम्मान किया गया इस अवसर पर परिषद की शक्ति शाखा को भी शक्ति में संपन्न विकलांग सामूहिक विवाह परिचय सम्मेलन तथा अन्य सेवा कार्यक्रमों के लिए सम्मानित किया गया
तो वही राष्ट्रीय अधिवेशन में भारत देश के विभिन्न राज्यों से परिषद के पदाधिकारी एवं सदस्य पधारे हुए थे आगंतुकों के सम्मान में जहां पंजीयन के साथ ही सुंदर कीट भी दी गई तो वही स्वल्पाहार एवं भोजन की भी व्यवस्था की गई एवं इस अवसर पर परिषद के सदस्यों द्वारा स्वरचित किताबों का भी विमोचन किया गया जिसमें डोली अरमान की एवं अन्य किताबें शामिल थी, राष्ट्रीय अधिवेशन को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि हाईकोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायाधीश चंद्रभूषण बाजपेई ने भी कहा कि आज अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद ने विकलांगता को लेकर जो कार्य किया है वह अपने आप में एक अनुकरणीय हैं,एवं विकलांग विमर्श पर जो सेमिनारो के माध्यम से समय-समय पर विभिन्न आयोजन किया जा रहा है यह निश्चित रूप से प्रशंसनीय कदम है,तथा सभी सेवाभावी सदस्यों को मैं इस अवसर पर साधुवाद ज्ञापित करता हूँ, अधिवेशन के दौरान राष्ट्रीय महामंत्री का प्रतिवेदन, राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष के रूप में संगठनात्मक प्रतिवेदन भी प्रस्तुत किए गए साथ ही विभिन्न इकाइयों के पदाधिकारी/ सदस्यों ने भी अपने स्थानीय स्तर पर किए जा रहे कार्यक्रमों की जानकारी दी
साथ ही अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद के नवनिर्मित चिकित्सालय के बेहतर संचालन के लिए एक संचालन समिति का भी गठन किया गया, जिसमें पदाधिकारी/ सदस्यों ने सवाईपुर सामने आकर संचालन में सेवाएं देने के लिए अपने नाम लिखवाए, कार्यक्रम को सफल बनाने में अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद के सभी पदाधिकारी/ सदस्यों का सराहनीय योगदान रहा